दिल तो चाहता है ये लम्हे यही ठहर जाएं
हम दोनों साथ हमेशा यूंही चलते जाएं
तेरे मिलने से मैं और मेरी जिन्दगी बदल गयी
मेरी उदासी तन्हायी कहीं दूर हवाओ में गुम हो गयी
मेरे जख्म रोने लगे मैं हंसने लग गयी
सोचती थी मैं तो हमेशा खामोश और तन्हा रह जाऊंगी
पर पता न था एक दिन आयने में देखकर यूंही मुस्कुराऊंगी
मैं और तुम मिले हमारी मुलाकात हो गयी
अंजानी सी मुलाकात एक गहरे रिश्ते की जान बन गयी
बस अब रिश्ते को उम्र भर एेसे ही निभाते जाएं
हम दोनों साथ हमेशा यूंही चलते जाएं
दिल तो चाहता है ये लम्हे यही ठहर जाएं।
-आस्था गंगवार
cool poetry…..latest lagti hai….Astha………….
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😀😀
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